रैम क्या होता है

कंप्यूटर या मोबाइल में जब अनेक एप्लीकेशन या फिर एप्स को खोल करके इस्तेमाल किया जाता हैं.उस समय कंप्यूटर के द्वारा वर्तमान में किए जा रहे काम के डाटा को निर्देशित करने के साथ-साथ उसको रैम में स्टोर तथा access करते रहता हैं.

रैम क्या है

रैम को रेंडम एक्सेस memory कहते है. इसका मतलब लैपटॉप या स्मार्टफोन में जो किसी भी प्रोग्राम को रेंडमली एक्सेस करेगा उसी को रैम कहते है. यह कंप्यूटर या स्मार्टफोन का प्रमुख यानी कि प्राथमिक मेमोरी होता है.

आइए एक उदाहरण से इसको समझेंगे, जैसे रैम को हम लोग रेंडम एक्सेस मेमोरी के नाम से जानते है. इसमें मेमोरी शब्द का मतलब याददाश्त यानि याद करना होगा. जैसे इंसान का दिमाग किसी भी चीज को याद रखता, उसको याद करता या जरूरत के हिसाब से उसको सोचता है.

जैसे कोई इंसान एक बार में कई बातें याद करता है. जितना जिसके पास दिमाग होगा उस तरह का उसके काम करने की क्षमता होगी. ठीक उसी प्रकार कंप्यूटर या स्मार्टफोन में रैम का भी काम ठीक दिमाग की तरह ही करता है.

मोबाइल या कंप्यूटर में बिजली का सप्लाई होते रहगा तब तक डाटा Ram द्वारा एक्सेस किया जाता हैं. उसके बाद जैसे ही बिजली का कनेक्शन बंद होगा या लैपटॉप बंद हो जाएगा, तो उसमें निर्देशित किए गए काम या डाटा पूरी तरह से डिलीट हो जाएगा. क्योंकि रेंडम एक्सेस मेमोरी एक भोला टाइल मेमोरी हैं.

Ram kya hai - रैम क्या है

उपयोग 

किसी भी स्मार्टफोन या लैपटॉप में हम सभी लोग सुनते हैं जितना ज्यादा रैम होगा उतना ही अच्छा मोबाइल या कंप्यूटर होगा.

तो क्या यह सही हैं आइए इसकी पूरी जानकारी प्राप्‍त कर लेंगे। जैसा कि एक समय में एक ही साथ यदि हम लोग अपने मोबाइल या डेक्‍सटॉप में अनेक एप्लीकेशन या ऐप का इस्तेमाल करते हैं.

उस समय किए जा रहे सभी प्रकार के गतिविधियों के कार्य रेंडम एक्सेस मेमोरी द्वारा ही किया जाएगा. जैसे किसी व्यक्ति को एक ही समय में कई अलग-अलग कई तरह के कामों को या यादों को सहेजने को कहा जाए तो उसके दिमाग का जो काम करने का प्रक्रिया हैं. उसको उस समय ज्यादा तेज गति से बढ़ाना पड़ेगा.

ठीक उसी प्रकार एक मोबाइल या कंप्यूटर में जितना ज्यादा रैम होगा. उतना ही ज्यादा आप एप्लीकेशन या एप्स का इस्तेमाल आसानी से कर पाएंगे.

कभी-कभी स्मार्टफोन का उपयोग करते समय हम सभी लोग महसूस करते है कि स्मार्टफोन स्लो या हैंग करने लगता है. यह जो समस्या रैडम एक्‍सेस मेमोरी कम होने के कारण ही स्मार्टफोन हैंगिंग प्रॉब्लम या स्लो समस्या से ग्रसित हो जाता हैं.

मेमोरी का दो प्रकार

  • प्राइमरी
  • सेकेंडरी

1. प्राइमरी

प्राइमरी को ही रैम कहते हैं. प्राइमरी मेमोरी का काम कंप्यूटर में सबसे ज्यादा महत्वपूर्ण होता हैं. क्योंकि लैपटॉप मेमोरी में डाटा और उसका निर्देश सेल में स्टोर रहता हैं.

हर एक सेल का कुछ रो एवं कॉलम से मिलकर बना रहता हैं. सबका अपना यूनिक एड्रेस भी होता हैं. इस यूनिक एड्रेस को सेल का path भी कहते हैं. जैसा कि ऊपर रेंडम एक्सेस मेमोरी की जानकारी दी गई हैं जो की पूरी तरह से प्राइमरी का उल्लेख हैं.

2. सेकेंडरी

सेकेंडरी में Computer में जितने भी डाटा इमेज वीडियो ऑडियो को रखा जाता हैं. वे सभी डाटा सेकेंडरी यानी सेकेंडरी स्टोरेज डिवाइस जिसको हार्ड डिक्स के नाम से जाना जाता हैं. इसे ही सेकेंडरी memory या सेकेंडरी स्टोरेज डिवाइस कहते हैं.

रैम का प्रकार  

यह दो प्रकार का होता हैं आइए नीचे Ram के उन दोनों प्रकार को एक-एक करके जानते हैं.

1. SRam

एस रैम को  static random access memory कहते हैं. static का मतलब जो सामान्य रूप से परिवर्तित नहीं होगा उसे static कहते हैं इसका मतलब static में डाटा स्थिर रहता हैं.

2. DRam

DRAM:- stand for dynamic random access memory इसका मतलब जो डाटा सामान्य रूप से अपने आप बदलते रहगा, रिफ्रेश होते रहेगा, बार-बार रिफ्रेश करने की जरूरत नहीं पड़ेगी

इसीलिए DRAM का उपयोग आजकल सभी स्मार्टफोन या लैपटॉप में किया जा रहा हैं. ddr3 और ddr4 रैम का उपयोग सभी मोबाइल या लैपटॉप में किया जा रहा हैं.

विशेषता

  • ये एक भोला टाइल memory है.
  • डाटा को परमानेंट के लिए स्टोर नहीं करता.
  • ये प्राथमिक यानी कि प्राइमरी memory होता है.
  • डाटा को रेंडम एक्सेस करता है.
  • इसमें डाटा को अस्थाई रूप से स्टोर करता है लेकिन तेज काम करता है
  • यह Computer का महंगा पार्ट होता है. 

फुल फॉर्म

रैम का फुल फॉम Random access memory होगा.

स्मार्टफोन लैपटॉप में रैम कितना होना चाहिए

वैसे जहां तक कंप्यूटर की बात की जाए तो Computer में Ram कितना होना चाहिए यह डिपेंड करता है आपके काम के ऊपर. क्योंकि लैपटॉप जब कोई खरीदता है

तो खरीदने से पहले यह जानना जरूरी हो जाता है कि आप किस लिए Computer खरीदना चाहते हैं. रेंडम एक्सेस मेमोरी Computer में कितना होना चाहिए एक Computer का कंफीग्रेशन क्या होना चाहिए जानने के लिए जहां तक इस स्मार्टफोन की बात हैं तो एक स्मार्ट फोन में कम से कम 2GB रैम जरूर होना चाहिए.

ज्यादा रैम से लाभ

किसी भी स्मार्टफोन या Computer में ज्यादा Ram यदि हो तो आप आसानी से उसमें गेम खेल पाएंगे. वीडियो एडिटिंग फोटो एडिटिंग और एक साथ मल्टीपल एप्लीकेशन या ऐप इस्तेमाल बहुत ही आसानी से कर पाएंगे. ज्यादा रैम होने के कारण आपका स्मार्टफोन या लैपटॉप हैंग नहीं करेगा. स्‍लो नहीं होगा आप smoothly काम कर पाएंगे.

स्मार्ट फोन और कंप्‍यूटर रैम में अंतर

एक स्मार्ट फोन में रैम 1GB 2gb 4gb 6GB या उससे अधिक 8GB तक आता है. जबकि लैपटॉप मे वर्तमान समय की बात की जाए तो कम से कम 4GB रैम या उससे अधिक 8GB 16GB या उससे ऊपर भी रैम कंप्यूटर में आते है.

जहां तक दोनों मे अंतर की बात की जाए तो स्मार्टफोन में LPDDR लो पावर डबल डाटा सिंक्रोनस Ram का इस्तेमाल होगा. जबकि Computer मे PCDDR रैम का इस्तेमाल किया जाता है.

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सारांश  

वैसे रैम का कैपेसिटी जो दिन प्रतिदिन बढ़ रहा है. तरह-तरह के स्मार्ट फोन और लैपटॉप आ रहे है. समय के हिसाब से उनका काम करने का क्षमता भी बेहतर हो रहा है.यदि आप Memory की जानकारी चाहते है की Memory क्या है इसकी जानकारी प्राप्त कर सकते है

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